Bewafa Pe Shayari

छोड़ गए हमको वो अकेले ही राहों में,
चल दिए रहने वो औरों की पनाहों में,
शायद मेरी चाहत उन्हें रास नहीं आई,
तभी तो सिमट गए वो गैर की बाहों में।

उसने दोस्ती का ऐसा सिला दिया,
अपने मतलब के लिए उसने,
मेरी दोस्ती को भुला दिया।

Bewafa Shayari

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