देखा है आज मुझे भी गुस्से की नज़र से,
मालूम नहीं आज वो किस-किस से लड़े है।

नाराज़ क्यों होते हो किस बात पर रूठे है,
अच्छा चलो ये माना तुम सच्चे हम ही झूठे है।
कोई गलती हो जाए तो बता देना
और माफ कर देना,
यू किसी की बातों में आकर
हमसे रुठ मत जाना।
देखा है आज मुझे भी गुस्से की नज़र से,
मालूम नहीं आज वो किस-किस से लड़े है।
नाराज़ क्यों होते हो किस बात पर रूठे है,
अच्छा चलो ये माना तुम सच्चे हम ही झूठे है।
कोई गलती हो जाए तो बता देना
और माफ कर देना,
यू किसी की बातों में आकर
हमसे रुठ मत जाना।